गणतंत्र दिवस पर राजपथ पर तैयार हुआ महाराष्ट्र का ‘जैव विविधता मानक’ रथ The Chitrarath on the theme 'Biodiversity Standards in Maharashtra' is being prepared for the Republic Day

गणतंत्र दिवस पर राजपथ पर तैयार हुआ महाराष्ट्र का ‘जैव विविधता मानक’ रथ

#Loktantrakiawaaz
नई दिल्ली, 24 जनवरी:
गणतंत्र दिवस (Republic Day) के अवसर पर राजधानी में ‘महाराष्ट्र में जैव विविधता मानक’ विषय पर पथ संचलन के लिए एक रथ तैयार किया गया है। यहां कैन्टोन्मेंट परिसर की रंगशाला में इस चित्ररथ का अंतिम भाग का काम पूर्ण होने जा रहा है।

केंद्रीय रक्षा मंत्रालय की ओर से गणतंत्र दिवस के जुलूस पर यहां छावनी क्षेत्र के स्टेडियम में प्रेस वार्ता का आयोजन किया गया। इस साल महाराष्ट्र समेत 12 राज्यों और 7 मंत्रालयों के रथ भेंट किए जाएंगे। महाराष्ट्र में ‘महाराष्ट्र में जैव विविधता मानक’ विषय पर आधारित एक रथ है।
➡️ महाराष्ट्र में जैव विविधता मानक’ रथ के बारे में...
इस वर्ष की पेंटिंग में 8 फीट ऊंची और 6 फीट चौड़ी शानदार ‘ब्लू मॉर्मन’ तितली की एक सुंदर प्रतिकृति है। राज्य फूल ’ताम्हन’ के कई रंग-बिरंगे गुच्छों को भी दिखाया गया है, जिनकी ऊंचाई डेढ़ फीट है। इस पर अन्य छोटी आकर्षक तितलियों की लुभावनी प्रतिकृति है। रथ में 15 फुट ऊंचे ‘शेकरू’ राजकीय पशु के साथ-साथ यूनेस्को द्वारा सूचीबद्ध ‘कास पठार’ को दर्शाया गया है। चित्ररथ के सामने कास पठार पर पाई जाने वाली छिपकली ‘सुपारबा’ को 3 फीट ऊंचा दिखाया गया है, जिसके पीछे राजकीय पक्षी ’हरियाल’ पीले कबूतर की प्रतिकृति भी दिखाई दे रही है। रथ के पिछले भाग में एक पेड़ की एक शाखा पर बैठे राज्य पशु शेकरू की प्रतिकृति और अंत में लगभग 14 से 15 फीट ऊंचे राज्य वृक्ष ‘आम’ की प्रतिकृति है। दुर्लभ ‘मालधोक’ पक्षियों की प्रतिकृतियां, महाराष्ट्र में नए पाए गए ‘केकड़े’, साथ ही बाघ, अंबोली ज़ारा, फ्लेमिंगो, मासा, गिद्ध, उल्लू पक्षी जैसी मछली प्रजातियों को 4 से 5 फीट की ऊंचाई पर देखा जाता है। इसके अलावा, ऐसे दृश्य हैं जो एक सुंदर कलात्मक दृष्टिकोण से जैव विविधता को दर्शाते हैं।
सांस्कृतिक कार्य निदेशालय के निदेशक विभीषण चौरे ने बताया कि इन सभी को रथ में शामिल कर रथ को और भी सुंदर और मनोरम बनाया गया है।
इस पेंटिंग का कॉन्सेप्ट सांस्कृतिक मामलों के निदेशालय का है और कलाकारों की एक टीम इस पर काम कर रही है। काम अब अंतिम चरण में है। महाराष्ट्र की विविध जैविक विरासत पर कविताओं की पंक्तियों को संगीत पर सेट किया जाएगा और गेय रूप में सड़कों पर सुना जाएगा। साथ ही राजमार्ग पर चलती पेंटिंग के साथ इसके अलावा, चार कलाकार  एक बाईं ओर और दो दाईं ओर नृत्य करेंगे।
आयोजित प्रेस कांफ्रेंस के बाद अंतरराज्यीय सांस्कृतिक कार्यक्रम में पुरस्कार पाने वाले राज्यों को प्रस्तुत किया गया। इसमें महाराष्ट्र ने लोक कला ‘गोंधल’ प्रस्तुत की थी। इस प्रतियोगिता में महाराष्ट्र प्रथम आया और इस बार महाराष्ट्र की लोक कला प्रस्तुत की गई।

The Chitrarath on the theme 'Biodiversity Standards in Maharashtra' is being prepared for the Republic Day procession in the capital NewDelhi and the final phase of the Chitraratha is being completed at the Cantonment area theater, it was informed at the press conference.