Russia Ukraine War Reason : आखिर क्या है विवाद की जड़, क्यों तीसरे विश्व युद्ध की कगार पर पहुंची दुनिया ? Russia Ukraine War Reason: After all, what is the root of the controversy, why the world reached the brink of World War III?

Russia Ukraine War Reason : आखिर क्या है विवाद की जड़, 

क्यों तीसरे विश्व युद्ध की कगार पर पहुंची दुनिया ?

कई दिनों के तनाव व आशंकाओं के बाद आखिरकार रूस व यूक्रेन के बीच कल गुरुवार को जंग छिड़ ही गई। इस युद्ध ने यूरोप में महायुद्ध व तीसरे विश्व के हालात पैदा कर दिए हैं। रूस ने भी पूरी तैयारी के साथ मैदान में उतारने का एलान किया है तो अमेरिका के नेतृत्व में नाटो भी मैदान संभाल सकता है।

यूक्रेन ने जवाबी हमले शुरू कर दिए हैं। ऐसे में यह जानना जरूरी है कि आखिर इस विवाद की जड़ क्या है? सोवियत संघ के जमाने में कभी मित्र रहे ये प्रांत दो देश बनने के बाद एक दूसरे के शत्रु क्यों बन गए हैं और वहां के ताजा हालात क्या हैं? 

➡️ 10 बिंदुओं में जानिए पूरा मामला
1) यूक्रेन की सीमा पश्चिम में यूरोप और पूर्व में रूस से जुड़ी है।

1991 तक यूक्रेन पूर्ववर्ती सोवियत संघ का हिस्सा था।

2) रूस और यूक्रेन के बीच तनाव नवंबर 2013 में तब शुरू हुआ जब यूक्रेन के तत्कालीन राष्ट्रपति विक्टर यानुकोविच का कीव में विरोध शुरू हुआ। जबकि उन्हें रूस का समर्थन था।

3) यानुकोविच को अमेरिका-ब्रिटेन समर्थित प्रदर्शनकारियों के विरोध के कारण फरवरी 2014 में देश छोड़कर भागना पड़ा।

4) इससे खफा होकर रूस ने दक्षिणी यूक्रेन के क्रीमिया पर कब्जा कर लिया। इसके बाद वहां के अलगाववादियों को समर्थन दिया।

इन अलगाववादियों ने पूर्वी यूक्रेन के बड़े हिस्से पर कब्जा कर लिया।

5) 2014 के बाद से रूस समर्थक अलगाववादियों और यूक्रेन की सेना के बीच डोनबास प्रांत में संघर्ष चल रहा था।

6) इससे पहले जब 1991 में यूक्रेन सोवियत संघ से अलग हुआ था तब भी कई बार क्रीमिया को लेकर दोनों देशों में टकराव हुआ।

7) 2014 के बाद रूस व यूक्रेन में लगातार तनाव व टकराव को रोकने व शांति कायम कराने के लिए पश्चिमी देशों ने पहल की।

फ्रांस और जर्मनी ने 2015 में बेलारूस की राजधानी मिन्स्क में दोनों के बीच शांति व संघर्ष विराम का समझौता कराया।

8) हाल ही में यूक्रेन ने नाटो से करीबी व दोस्ती गांठना शुरू किया। यूक्रेन के नाटो से अच्छे रिश्ते हैं। 1949 में तत्कालीन सोवियत संघ से निपटने के लिए नाटो यानी 'उत्तर अटलांटिक संधि संगठन' बनाया गया था।

यूक्रेन की नाटो से करीबी रूस को नागवार गुजरने लगी।

9) अमेरिका और ब्रिटेन समेत दुनिया के 30 देश नाटो के सदस्य हैं। यदि कोई देश किसी तीसरे देश पर हमला करता है तो नाटो के सभी सदस्य देश एकजुट होकर उसका मुकाबला करते हैं। रूस चाहता है कि नाटो अपना विस्तार न करे। राष्ट्रपति पुतिन इसी मांग को लेकर यूक्रेन व पश्चिमी देशों पर दबाव डाल रहे थे।

10) आखिरकार रूस ने अमेरिका व अन्य देशों की पाबंदियों की परवाह किए बगैर गुरुवार को यूक्रेन पर हमला बोल दिया। अब यदि नाटो ने रूस पर जवाबी कार्रवाई की और योरप के अन्य देश इस जंग में कूदे तो तीसरे विश्व युद्ध का खतरा बढ़ जाएगा।

Russia Ukraine War Reason: After all, what is the root of the controversy, why the world reached the brink of World War III?